उड़ीसा के बालासोर जिले में एक बेहद अनोखा मामला सामने आया, जिसके बाद वहां का पुलिस प्रशासन अपना सिर पकड़ कर बैठ गया. यह मामला इतना अनोखा था कि पुलिस प्रशासन को समझ नहीं आ रहा था कि अब आईपीसी की कौन सी धारा के तहत मुकदमा दर्ज किया जाए? वास्तव में यहां थाने में एक व्यक्ति अपनी 63 मुर्गियों की मौत की शिकायत लिखवाने आया था, अपनी मुर्गियों की मौत का कारण वह डीजे के शोर के कारण उसकी मुर्गियों को आए हार्ट अटैक को बता रहा था.
जानिए क्या है “मुर्गियों के हार्ट अटैक” का यह पूरा मामला– जानकारी के अनुसार उड़ीसा के बालासोर जिले में नीलगिरी इलाके में एक व्यक्ति “रंजीत” अपना एक चिकन फार्म चलाता था. वही 22 नवंबर को उसके पड़ोसी रामचंद्र के घर शादी थी. रंजीत के अनुसार 22 नवंबर के दिन उसके पड़ोसी रामचंद्र ने जोर-जोर से डीजे पर गाने बजाए. रंजीत के मुताबिक रात के 11:30 बजे उसके चिकन फार्म के पास जोर-जोर से गाने बज रहे थे, जिसमें बारातियों ने खूब जमकर डांस किया था.
रंजीत का कहना है कि डीजे की तेज आवाज से उसकी मुर्गियां बेचैन होने लगी थी. सभी मुर्गियां अस्त-व्यस्त हो गई और इधर-उधर दौड़ने लगी. जिसके बाद उसने रामचंद्र के परिवार वालों को डीजे की आवाज कम करने के लिए कहा, लेकिन किसी ने उसकी नहीं सुनी. सभी लोग एक के बाद एक नए गाने बजाए जा रहे थे. रंजीत का कहना है कि उसकी बेचैन मुर्गियां इतने ज्यादा शोर को नहीं सहन कर पाई. जिसके बाद उसकी मुर्गियां एक के बाद एक नीचे गिरने लगी और ऐसे करके उसकी कुल 63 मुर्गियों की मौत हो गई.
वेटरनरी डॉक्टर ने बताया मौत का कारण:– रंजीत का कहना है कि 23 नवंबर की सुबह उसने अपने पास के वेटरनरी डॉक्टर को बुलाया, और उसने अपनी मुर्गियों की मौत का कारण पूछा. तब वेटरनरी डॉक्टर ने कहा कि मुर्गियां डीजे की तेज आवाज से बेहद डर गई थी, जिसकी वजह से उनका हार्ट फेल हो गया. डॉक्टर ने आगे कहा कि डीजे की तेज आवाज जब मनुष्य को इतना परेशान कर सकती है तो छोटे जानवरों पर उसका कितना बुरा असर होता होगा यह हम नहीं समझ सकते.
अपनी मुर्गियों की मौत का कारण जानने के बाद रंजीत अपने पड़ोसी रामचंद्र के घर हर्जाने की मांग करने पहुंचा. जिसके बाद रंजीत और रामचंद्र के बीच आपसी कहासुनी हुई और रामचंद्र ने डीजे की आवाज की वजह से उसकी मुर्गियों की मौत होने की बात को नहीं माना. जिसके बाद परेशान रंजीत आखिरकार थाने पहुंचा, और उसने अपने पड़ोसी रामचंद्र के खिलाफ शिकायत दर्ज करवाई.
रंजीत ने कहा कि “मैंने इंजीनियरिंग तक की पढ़ाई की है लेकिन नौकरी ना मिलने की वजह से मैंने चिकन फार्म खोलने का फैसला किया था. मैं आर्थिक समस्याओं से गुजर रहा था इसलिए मैंने 2 लाख का कर्ज लिया था. लेकिन अब एक साथ मेरी 63 मुर्गियों की मौत हो गई है जिसके बाद मुझे मानसिक और आर्थिक क्षति पहुंची है”. रंजीत की बात सुनकर जब पुलिस ने रामचंद्र को थाने बुलवाया.
तब रामचंद्र ने यह कहते हुए अपना बचाव किया कि जब मुर्गियों को एक जगह से दूसरी जगह ले जाया जाता है तब ज्यादा शोर गुल और हलचल से तो वह नहीं मरती? इसलिए डीजे की आवाज की वजह से मुर्गियों की मौत को मैं नहीं मानता. जिसके बाद रंजीत और रामचंद्र के बीच आपसी बहस बाजी हुई लेकिन पुलिस ने आखिरकार दोनों में सुलह करवाई. पुलिस ने रामचंद्र को रंजीत की 63 मुर्गियों के लिए हर्जाना भरने के लिए राजी किया. हालांकि हाथों-हाथ मामला सुलझने के कारण पुलिस ने रामचंद्र के खिलाफ FIR नहीं दर्ज की.